Haryana Gk | हरियाणा राज्य के प्रमुख उद्योग
  • औद्योगिक दृष्टि से हरियाणा एक अल्पविकसित राज्य है । पर्याप्त खनिज संसाधनों के अभाव में राज्य में उद्योग धन्धों का अपेक्षित विकास नहीं हो पाया है तथा राज्य की अर्थव्यवस्था भी मुख्यत: कृषि आधारित है।
  • आधुनिक दृष्टि से हरियाणा राज्य का विकास वर्ष 1980 के बाद हुआ है । वर्तमान में राज्य के सकल घरेलू उत्पाद में लगभग 80% योगदान द्वितीयक एव तृतीयक क्षेत्रों का है।
  • निष्कर्षत: विगत कुछ वर्षों में विनिर्माण क्षेत्र एवं सेवा क्षेत्र मे तीव्र गति से वृद्धि हुई है।
  •  राज्य में बड़े उद्योगों का अभाव और छोटे उद्योगों का बाहुल्य है।
  •  राज्य में क्षेत्रीय विशिष्टीकरण की ओर अधिक ध्यान दिया जा रहा है। जैसे-मेडिसिटी, साइबर सिटी (गुडगाँव), पेपर सिटी (यमुनानगर), साइंटिफिक अप्रैटस सिटी (अम्बाला) व शुगर सिटी (पलवल व रोहतक) आदि।
  •  हरियाणा के राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (NCR) में स्थित नगरों-फरीदाबाद, गुड़गाँव, बहादुरगढ़, सोनीपत व पानीपत में उद्योगों का विकास अधिक हुआ । इसका प्रमुख कारण दिल्ली से कच्चे माल की प्राप्ति की सुलभता और विस्तृत बाजार की उपलब्धता का होना है।
  •  अनेक छोटी औद्योगिक इकाइयों में वैज्ञानिक व चिकित्सा उपकरण जैसी परिष्कृत वस्तुएँ बनाई जाती हैं।

हरियाणा राज्य के उद्योग

सूती वस्त्र उद्योग

  • वर्ष 1945 में सूती वस्त्र बनाने की पहली मिल बनी।
  • वर्ष 1937 में भिवानी टेक्सटाइल मिल स्थापित की गई।

सीमेण्ट फैक्टी चरखी-दादरी

  • इस फैक्ट्री का निर्माण वर्ष 1939 में सेठ रामकृष्ण डालमिया द्वारा करवाया गया था। ० इसका निर्माण जर्मनी के इंजीनियरों द्वारा किया गया था। इस फैक्ट्री में प्रतिदिन 500 मीट्रिक टन से अधिक सीमेंट का उत्पादन होता है।
  • 23 जून, 1981 को इसे सीमेण्ट कारपोरेशन आफ इण्डिया ने अधिगृहीत कर लिया।

प्रमुख उद्योग एवं उत्पादक नगर

  • उद्योग — उत्पादक नगर
  • सीमेण्ट उद्योग – सूरजपुर
  • शक्कर उद्योग – यमुनानगर, सोनीपत, शाहबाद, जगाधरी, पानीपत, रोहतक, जीन्द, पलवल, करनाल, हिसार व महम
  • गोला-बारूद उद्योग – यमुनानगर
  • कागज उद्योग – फरीदाबाद, जगाधरी, सोनीपत, यमुनानगर, व धारूहेड़ा।
  • औषधि उद्योग – गुड़गांव, डूंडाहेड़ा, मोटरवाहन उद्योग गुडगाँव, फरीदाबाद व पिंजौर
  • साइकिल उद्योग – सोनीपत, फरीदाबाद, पलवल व जीन्द
  • पेट्रोल उद्योग – पानीपत, बावल व करनाल
  • कृषि यन्त्र उद्योग – फरीदाबाद
  • इंजीनियरिंग उद्योग – फरीदाबाद
  • ऊन उद्योग – हिसार व पानीपत
  • कपड़ा उद्योग – हिसार, भिवानी, फरीदाबाद, पानीपत व रोहतक
  • चमड़ा उद्योग – फरीदाबाद व जीन्द
  • बर्तन उद्योग (ताँबा व पीत्तल) –  रेवाडी
  • बर्तन उद्योग(चीनी मिट्टी) –  गुडगाँव व बहादुरगढ़
  • सिलाई मशीन उद्योग – अम्बाला
  • लोहा व स्टील उद्योग – हिसार, गन्नौर, पानीपत व बहादुरगढ़
  • टायर ट्यूब उद्योग – बल्लभगढ (गुड ईयर कम्पनी) व फरीदाबाद
  • इलेकट्रॉनिक्स उद्योग – पंचकुला, गुड़गांव, अम्बाला व फरीदाबाद
  • प्लास्टिक उद्योग – फरीदाबाद
  • वनस्पति उद्योग – करनाल व सिरसा
  • सेनेटरी उद्योग – बहादुरगढ़
  • मारुति उद्योग – गुड़गांव

औद्योगिक विकास सम्बन्धी प्रमुख योजनाएँ

  • गुडगाँव जिले के मानेसर मे स्व. चौधरी देवीलाल आदर्श ओद्योगिक नगरी का 3,000 एकड भूमि पर विकास हेतु योजना बनाई गई है।
  • बावल (रेवाडी) तथा साहा ( अम्बाला) मे विकास केंद्रों की स्थापना की गई है।
  •  मानेसर में विशेष आर्थिक क्षेत्र की स्थापना की गई है।
  • राज्य सरकार द्वारा नरवाना (जीन्द), साहा (अम्बाला), राई (सोनीपत) __ एवं डबवाली (सिरसा) मे फूड पार्कों की स्थापना कर राज्य के विकास को सुनिश्चित किया जा रहा है।
  • आयातकों व निर्यातकों की सुविधा हेतु रेवाडी में ₹ 14 करोड़ की लागत से एक इनलैण्ड कंटेनर डिपो स्थापित किया गया है।
  • पानीपत मे एक पेट्रो-रसायन परिसर की स्थापना की जा रही है।
  • मानेसर और पंचकुला मे दो आई टी पार्क स्थापित किए जा रहे हैं।

नई औद्योगिक नीति, 2011

  • अगले एक दशक में दो लाख करोड़ रुपये के निवेश को आकर्षित करना।
  • आने वाले पाँच वर्षों में 10 लाख नौकरियाँ उपलब्ध करवाना।
  • खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों को विकसित करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।
  • हरियाणा में 20 नए विशेष आर्थिक क्षेत्र खोले जाएंगे।
  • बडी परियोजनाओं, सूचना प्रौद्योगिकी उद्योगों तथा प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की परियोजनाओं को उच्च प्राथमिकता के आधार पर बिजली के कनेक्शन दिए जाएंगे।
  • फरीदाबाद में परमाणु प्लाण्ट लगाने की योजना।
  • हरियाणा पहला राज्य होगा, जो श्रमिकों के लिए पॉलिसी निकालेगा।
  • ग्रामीण क्षेत्रों में औद्योगीकरण को बढावा देने के लिए मुख्यमंत्री ग्रामीण योजना शुरू की जाएगी।
  • फरीदाबाद तया खरखौदा में नए औद्योगिक टाउनशिप खोले जाएँगे।
  • दिल्ली तथा चंडीगढ़ में निवेश प्रोत्साहन केन्द्र स्थापित होंगे।
  • लगभग 700 औद्योगिक कारखाने खोले जाएंगे, जो लगभग, एक लाख लोगों को रोजगार प्रदान करेंगे।
  • औद्योगिक मॉडल टाउनशिप मानेसर की तरह अन्य आई एम टी मेवात, फरीदाबाद, रोहतक एवं खरखौदा में विकसित किए जाएंगे।
  • औद्योगिक उपक्रमि ज्ञापन के क्रियान्वयन में हरियाणा देश का अग्रणी राज्य है।
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